मां शारदे वर दे हमें

 

मां शारदे वर दे हमें

मां शारदे वर दे हमें भक्ति तुम्हारी पा सकें

ऐसा मुखर स्वर दे हमें महिमा तुम्हारी गा सकें

 

हो साधना का स्वर तुम्हीं, तुम गीत का श्रृंगार हो

तुम रागिनी हो प्रीति की, संगीत की झंकार हो

तुम ही कला हो सृष्टि की, हर कल्पना साकार हो

मां शारदे वर दे हमें

मां शारदे वर दे हमें भक्ति तुम्हारी पा सकें

ऐसा मुखर स्वर दे हमें महिमा तुम्हारी गा सकें

 

दो आज जन-जन के हृदय में स्नेह की सरिता बहा

मां ज्ञान के आलोक से तम का महल अब दो गिरा

शिव सत्य सुंदर रूप तेरा है अलोकिक दिव्य मां

मां शारदे वर दे हमें

मां शारदे वर दे हमें भक्ति तुम्हारी पा सकें

ऐसा मुखर स्वर दे हमें महिमा तुम्हारी गा सकें

 

सुख शांति वसुधा की तुम्हारा ही मधुर शुचि हास है

वाणी सुधामय मां तुम्हारा ही सुरभि उच्छ्वास है

करुणामयी ये दृष्टि ही संसार का विश्वास है

मां शारदे वर दे हमें

मां शारदे वर दे हमें भक्ति तुम्हारी पा सकें

ऐसा मुखर स्वर दे हमें महिमा तुम्हारी गा सकें

 

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