मनोहर श्याम जोशी

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9 अगस्त : जन्मदिन विशेष

आधुनिक हिन्दी साहित्य के श्रेष्ट गद्यकार, उपन्यासकार, व्यंग्यकार मनोहर श्याम जोशी की लेखनी के अनेक रंग हैं । उन्हें आम लोग बुनियाद’ ‘नेताजी कहिन’, ‘मुंगेरी लाल के हसीं सपने’, ‘हम लोग’ जैसे दूरदर्शन के प्रसिद्ध और लोकप्रिय धारावाहिकों- ‘के लेखक के रूप में जानते है , रंगकर्मियों के लिए वो रंगकर्म के अच्छे जानकार हैं जिन्होंने पटकथा -लेखन’ नामक पुस्तक की रचना की है।वो दिनमान’ और ‘साप्ताहिक हिन्दुस्तान’ के संपादक रहे।  और साहित्त्य में किस्सागोईनुमा लेखन के मामले में भी मनोहरजी का कोई सानी नहीं रहा. इसका एक उदाहरण उनके उपन्यास ‘हरियाहरक्यूलिस की हैरानी’ के इस हिस्से को पढ़कर लगाया जा सकता है.

‘पहले बिरादरी को हैरानी हुआ करती थी कि हरिया को को किसीबात पर हैरानी क्यूं नहीं हुआ करती. लेकिन अचानक हरिया के सामने हैरानी का दरवाजा जब खुला तो वह हैरानी के तिलस्म में उतरताही चला गया. यहां तक कि बिरादरी की हैरानियों पर उसकी हैरानियां भारी पड़ने लगीं. हैरानी को लेकर जितनी भी व्याख्याएं लोगों केपास थी, वे कहानियों की शक्ल में बहने लगीं… बुजुर्गों को चिंता हुयी कहीं ये हैरानियां आपस में टकराकर ही खत्म न हो जायें.लेकिनबिरादरी के एक मेधावी युवक ने उन्हें यह भरोसा दिलाया कि हरिया की हैरानी हमेशा रहेगी.क्योंकि हैरानी के बिना कहानी नहीं होती.औरकहानी के बिना बिरादरी नहीं.’

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